ग्रामीण क्षेत्र के अधिकतर लोग किसान होते हैं, और किसानों पर कर्ज का बहुत बोझ होता है, दोस्तों आप सभी का स्वागत है हमारे वेबसाइट में, आज हम किसानों पर कर्ज का बोझ पर निबंध लाए हैं जिसके माध्यम से हम किसानों पर किस प्रकार कर्ज का बोझ होता है, किसानों की स्थिति कैसी होती हैं, आदि सभी के बारे में चर्चा करेंगे, इस निबंध के माध्यम से आप सभी विद्यार्थियों को किसानों पर कर्ज का बोझ पर निबंध लिखने में आसानी हो और आप सभी किसानों के महत्व के बारे में जान सकें।
हमारा निबंध लेखन सरल भाषा में लिखा होता है, इसे सभी विद्यार्थी आसानी से समझ कर लिख सकते हैं, यह सभी विद्यार्थियों के लिए उपयोगी है क्योंकि सभी विद्यार्थियों को स्कूल में निबंध लेखन का प्रश्न दिया जाता है।

किसानों पर कर्ज का बोझ पर निबंध 1
प्रस्तावना:-
हमारे देश के किसान कर्ज के बोझ के कारण दबते जा रहे हैं, किसान खेतों में फसल उगाने के लिए कर्ज लेते हैं किसान उधार लेते समय ऋण चुकाने की क्षमता पर ध्यान नहीं देते और फसलों की उपज नहीं होने पर किसान पर यह बहुत बड़ा कर्ज बन जाता है जिससे किसान कर्ज से बाहर नहीं निकल पाता है। कर्ज का बोझ किसान के लिए बहुत बड़ा समस्या बन जाता है, किसान को जितना कर्ज चुका सके उतना ही ऋण लेना चाहिए, और किसान को बचत भी करना चाहिए।
भारत में ग्रामीण क्षेत्र के किसान बहुत गरीब होते हैं जिसके कारण उन्हें कर्ज लेना पड़ता हैं और लोगों को इससे बहुत परेशानियां होने लगती हैं, किसानों को बीज, खाद और महंगे कीटनाशक खरीदने पड़ते हैं जिनके लिए किसानों के पास पैसा नहीं होता और उन्हें कर्ज लेना पड़ता है किसान फसल की अच्छी उपज ना होने के कारण कर्ज का भरपाई नहीं कर पाते और कर्ज के तले दबते चले जाते है जो किसान के लिए बहुत बड़ा फांसी के फंदे के समान बन जाता है।
किसान के ना चाहते हुए भी उसे उधार लेना पड़ता है क्योंकि किसान के पास पैसे ना होने के कारण वह मजबूर हो जाता है, गांव के अधिकतर किसान बैंक से कर्ज लेते हैं कभी कभी बारिश नहीं होता तथा बाढ़ जैसी आपदाएं आ जाती है जिसके कारण किसानों के उत्पादन को बहुत बुरा असर पड़ता है, और किसान कर्ज नहीं चुका पाते जिसके कारण किसान दुबारा बैंक से लोन भी नहीं ले पाते हैं।
किसानों की स्थिति:-
कर्ज में डूबे किसानों की स्थिति बहुत खराब होती है, कर्ज में डूबे किसानों के घर परिवार की स्थिति भी काफी खराब हो जाती है किसान अपने परिवार की पालन पोषण के लिए फसलों पर निर्भर होते है, फसल की उपज नहीं होने के कारण किसानों को अनेक प्रकार की समस्याओंको झेलना पड़ता है, किसान अपने परिवार की पालन पोषण भी ठीक से नहीं कर पाता, किसान कर्ज में डूबने के कारण आत्महत्या करने को भी सोचने लगता है।
कई किसान शुरुआत में कृषि संबंधित उत्पादों के लिए कर्ज के भारी बोझ से दब जाते हैं, और पूरे जीवन भर कर्ज को नहीं दे पाते हैं, कर्ज के कारण कई किसान आत्महत्या कर लेते हैं और कर्ज में डूबे गरीब किसान अपने परिवार के लिए दो वक्त की रोटी भी उपलब्ध नहीं कर पाते हैं, इन सभी को देखकर किसान आत्महत्या जैसे भयानक कदम उठा लेते हैं, सरकार को किसानों को कर्ज मुक्त कराना चाहिए किसानों के लिए उचित कदम उठाना चाहिए और किसानों के लिए उनके आवश्यक वस्तुओं को उपलब्ध कराना चाहिए।
किसानों के कर्ज में डूबने का कारण:-
किसानों का कर्ज में डूबने का प्रमुख कारण किसानों का अशिक्षा होता है, किसानों की अशिक्षा के कारण किसान अनेक प्रकार से कर्ज में डूबते चले जाते हैं, शिक्षा किसानों के लिए बहुत बड़ी समस्या है, उनकी अशिक्षा का फायदा उठाकर बड़े साहूकार और महाजन लोग किसान के जमीन को हड़प लेते हैं, तथा वे किसानों को कम पैसा देकर अधिक वसूल करते हैं। किसानों के परिवार की संख्या अधिक होने के कारण उन्हें जीवन यापन करने में बहुत मुश्किलों का सामना करना पड़ता है तथा किसान को परिवार की जरूरतों को पूरा करने के लिए कर्ज में पैसा उधार लेना पड़ता है।
रीति-रिवाजों और परंपराओं से संबंधित धार्मिक अनुष्ठानों में किसान ज्यादा खर्च कर लेता है जिसके कारण किसानों को उधार लेना पड़ता है और उन्हें बाद में ब्याज के साथ वापस लौटाना पड़ता है, कर्ज नहीं लौटा पाने के कारण किसानों को अपने जमीन भी देने पड़ते हैं, बड़े धनवान लोग किसानों को कर्ज देने के लुभावने में उनके जमीन भी हड़प लेते हैं।
कर्ज का किसानों पर प्रभाव:-
किसानों की दिन प्रतिदिन दयनीय अवस्था बिगड़ती जाती है। किसानों का कर्ज लेने के कारण उनके रोजी रोटी और रहन सहन पर भी बहुत प्रभाव पड़ता है, किसानों को कर्ज लेने के बाद उच्च ब्याज के साथ उधार लौटाना पड़ता है, किसानों को आर्थिक स्थिति खराब होने के कारण कर्ज का भरपाई ब्याज के साथ प्रति वर्ष जमा करना होता है, बाढ़ और सूखे की समस्या के कारण भी किसान ऋण लेने को मजबूर हो जाता है, सरकार को ऋणग्रस्तताको समाप्त करने के लिए उचित कदम उठाना चाहिए।
सरकार के द्वारा किसानों के लिएउचित कदम:-
सरकार को उधार लेने की आवश्यकता को दूर करना चाहिए, किसानों को खाद, बीज और सिंचाई संबंधित सभी सुविधाओं को प्रदान करना चाहिए, ग्रामीण क्षेत्रों में कृषि आधारित उद्योगों को बढ़ावा देना चाहिए, परिवहन के क्षेत्रों में सुधार लाना चाहिए, बैंकों का राष्ट्रीयकरण करना चाहिए, तथा किसानों के कर्ज को माफ करना चाहिए, और सरकार को किसानों को कम ब्याज दर पर लोन देने की व्यवस्था करनी चाहिए।
उपसंहार:-
किसानों का जीवन सरल और सहज होता है किसान बनावटी जीवन नहीं जीते हैं, उन्हें सरल जीवन व्यतीत करनापसंद होता है क्योंकि किसान बहुत ही गरीब होते हैं उन्हें अपने परिवार का रोजी-रोटी चलाने के लिए भी दिनभर खेतों में कठिन परिश्रम करना पड़ता है तब जाकर किसान अपने परिवार की पालन-पोषण कर पाते हैं, किसान अपने परिवार की आवश्यकता को पूरा करने के लिए कर्ज लेते हैं और फसलों की नुकसान हो जाने पर कर्ज नहीं लौटा पाते हैं जिसके कारण वे हमेशा कर्ज तले दबे रहते हैं तथा किसान अपने परिवार के लिए दो वक्त की रोटी भी उपलब्ध नहीं कर पाते हैं,जिसके कारण कई किसान आत्महत्या कर लेते हैं।
किसानों के कर्ज में डूबने के कारण किसानों को अपना तन ढकने के लिए कपड़ों का अभाव होने लगता है तथा उनके बच्चों को अच्छा पोषण नहीं मिल पाता है , जिसके कारण बच्चे कुपोषण के शिकार होने लगते हैं, किसानों को अपने बच्चे तथा परिवार के अन्य सदस्यों के पेट भरने और दवा इलाज कराने के लिए भी कर्ज लेना पड़ता है, तथा किसान कर्ज में डूबने के कारण अपने बच्चों को शिक्षा भी नहीं दे पाते है जिससे उनके बच्चे अशिक्षित रहते हैं और उन्हें भी इन्हीं परिस्थितियों में जीवन यापन करना पड़ता है।
सरकार को किसानों की स्थिति को देखते हुए इनके कर्ज को माफ करना चाहिए और किसानों को कृषि संबंधित सभी उपकरणों को उपलब्ध करना चाहिए, हमारे देश को अनाज उपलब्ध कराने वाला किसान ही है, जो कर्ज के बोझ में दबा रहता है, कर्ज में दबे रहने के कारण किसानों की आर्थिक स्थिति में सुधार नहीं होता और इससे हमारे समाज और देश पर भी काफी प्रभाव पड़ता है, देश के कई क्षेत्र है जहां किसान आज भी कर्ज में दबे हैं, आज भी कई ऐसे किसान है जो बैंक के कर्ज में डूबे हुए हैं जिसके कारण उन्हें जरूरत पड़ने पर भी दुबारा बैंक से कर्ज नहीं ले पाते हैं।
सम्बंदित निबंध : –
- ओजोन दिवस पर निबंध
- मेरा प्रिय पुस्तक पर निबंध
- स्वच्छता के महत्व पर निबंध
- लाल बहादुर शास्त्री पर निबंध
- सब्जी मंडी पर निबंध
- अमीर इंसान पर निबंध

हेल्लो दोस्तों मेरा नाम प्रवीन कुमार है . और में इस ब्लॉग का Owner हूँ. मुझे हिंदी में लेख लिखना पसंद है. और में आपके लिए सरल भाषा में लेख लिखता हूँ.